जयपुर। परिवहन विभाग ने प्रदेश में दूसरी बार मोटर वीकल एक्ट के जुर्मानों को कम कर दिया है। इससे पहले 1 सितंबर 2019 को केन्द्र सरकार के संशोधित मोटर वीकल एक्ट के प्रावधानों को राज्य सरकार ने 9 महीने बाद जुर्माना राशि कम करते हुए 8 जुलाई 2020 को लागू किया था। लेकिन इसके बाद भी अन्य राज्यों से प्रदेश में जुर्माना राशि अधिक थी। ऐसे में परिवहन मंत्री लगातार जुर्माना राशि कम करने की कवायद में जुटे थे। परिवहन विभाग ने विधि विभाग से मंजूरी के बाद सीएम अशोक गहलोत को इसका प्रस्ताव भेजा था। उसे मंजूर करते हुए सीएम गहलोत ने बुधवार को बजट पेश करने के दौरान जुर्माना राशि को कम कर दिया है। सीएम की घोषणा के बाद परिवहन विभाग ने भी इसे लेकर नोटिफिकेशन जारी कर दिया है।
किस गलती के लिए कितना जुर्माना
सामान्य अपराध के दोपहिया और तिपहिया वाहनों पर – 100 और 200 रुपए
बस में बिना टिकट यात्रा करने पर – 100 रुपए
बस में क्षमता से अधिक यात्री होने पर – प्रति यात्री 200 रुपए
बिना सीट बेल्ट वाहन चलाने पर – 1000 रुपए
14 साल से कम उम्र के बच्चे को बिना बेल्ट लगाए वाहन चलाने पर – 500 रुपए
दोपहिया वाहन पर दो से ज्यादा सवार पाए जाने पर -100 रुपए
एम्बुलेंस को साइड नहीं देने पर – 1000 रुपए
अनावश्यक रूप से हॉर्न बजाने पर – 500 रुपए
प्रतिबंधित क्षेत्र में हॉर्न बजाने पर – 1000 रुपए
परमिट की शर्तों का उल्लंघन करने पर कार पर 5000 रुपए, दुपहिया-तिपहिया और बसों पर 2000 रुपए, भारी वाहनों पर 10000 रुपए
बिना हेलमेट वाहन चलाने पर – 1000 रुपए
वाहन ओवरलोड पाए जाने पर 5 हजार रुपए प्रति टन
तेज गति से वाहन चलाने पर – 1000 रुपए
भारी वाहन पर – 2000 रुपए
मांगी गई जानकारी देने से इनकार करने पर – 1000 रुपए
यदि चालक मानसिक और शारीरिक रूप से अयोग्य पाया गया तो- 500 से 1000 रुपए
अप्राधिकृत व्यक्ति को वाहन चलाने की स्वीकृति देने पर – 5000 रुपए
कंडक्टर की ओर से कर्तव्य की अवहेलना किए जाने पर- 500 रुपए
सरकार की स्वीकृति के बिना दौड़-गति का आयोजन करने पर पहले 5000 और फिर 10000 रुपए