बीकानेर। राज्य के सरकारी स्कूलों में बोर्ड परीक्षा परिणाम निर्धारित मापदंड से कम रहने पर राज्य के 619 संस्था प्रधानों (प्राचार्य तथा प्रधानाध्यापकों ) को माध्यमिक शिक्षा निदेशालय की ओर से कारण बताओ नोटिस जारी किए गए हैं। इनमें 21 संस्था प्रधानों को बारहवीं का परीक्षा परिणाम तथा शेष 598 संस्था प्रधानों को दसवीं बोर्ड में स्कूल का परीक्षा परिणाम निर्धारित मापदंड से न्यून रहने पर कारण बताओ नोटिस दिए गए हैं। माध्यमिक शिक्षा निदेशक ने इन सभी संस्था प्रधानों को 15 दिन में वर्ष 21/22 में बोर्ड परीक्षा परिणाम कम रहने का कारण बताते हुए अपना स्पष्टीकरण देने को कहा है। संतोषजनक स्पष्टीकरण नहीं होने पर उनके खिलाफ 17 सीसीए में विभागीय जांच शुरू की जाएगी।
यह देना होगा स्पष्टीकरण में
संस्था प्रधानों को अपने स्पष्टीकरण में विद्यालय में कब से कब तक रहने, विषय अध्यापक का पद रिक्त रहने पर संस्था प्रधान के नाते किए गए प्रयास, शिक्षण व्यवस्थार्थ की गई अतिरिक्त कक्षाओं का विवरण तथा रिक्त पदों को भरने के लिए उनके द्वारा किए गए प्रयासों की जानकारी और संस्था प्रधान के नाते पिछले 3 साल का बोर्ड परीक्षा परिणाम का विवरण भी भेजने के निर्देश दिए गए हैं। संस्था प्रधानों के स्पष्टीकरण के बाद ही ये तय किया जाएगा कि किन संस्था प्रधानों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही की जाए।
ये है निर्धारित मापदंड
जिस स्कूल का 10 वीं बोर्ड का परीक्षा परिणाम 50 फीसदी अथवा इससे कम तथा 12 वीं बोर्ड का 60 फीसदी अथवा इससे कम रहता है, उनके खिलाफ सीसीए 17 में अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाती है। अजमेर, कोटा, पाली व बांसवाड़ा में दो--दो, अलवर, बाड़मेर, भीलवाड़ा, बीकानेर, चितौड़गढ़, दौसा, जालौर, जोधपुर में एक-एक तथा उदयपुर के चार स्कूलों में कक्षा 12 का परिणाम कमजोर रहा।