सरपंच से मिलीभगत कर कृषि भूमि का फर्जी बैयनामा करवाने का मामला सामने आया है। मामले में पुरानी गिन्नाणी निवासी निर्मल तंवर ने पूगल थाने में सरपंच सहित पांच लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करवाया है। परिवादी के अनुसार उसने 28 मई 2019 को पूगल के अमरपुरा उपनिवेशन क्षेत्र में 7.09 बीघा कृषि भूमि मोतीराम पुत्र कुंभाराम लुहार से खरीदी थी। एक लाख में सौदा तय हुआ, पचास हजार तुरंत दिए गए, शेष के लिए समय डाला गया। लेकिन बाद में लॉकडाउन की वजह से चालीस हजार रुपए भुगतान कर ज़मीन पर कब्जा प्राप्त कर लिया गया। इस दौरान विक्रेता मोतीराम से शेष दस हजार की राशि के लिए कुछ और समय लिया गया। लेकिन मोतीराम ने अमरपुरा सरपंच मुरली मोदी के साथ मिलीभगत कर फर्जीवाड़ा करते हुए भूमि का फर्जी बैयनामा सरपंच के भाई की पत्नी मीनाक्षी मोदी के नाम कर दिया। इस बैयनामें में घनश्याम मोदी व महेंद्रदान चारण भी गवाह बनें।
आरोप है कि परिवादी की भूमि पर से उसका कब्जा छुड़ाने के लिए पटवारी, गिरदावर आदि ने भी आरोपियों का सहयोग किया। परिवादी को धमकियां दीं गई। इस पर परिवादी ने सिविल न्यायालय खाजूवाला में वाद प्रस्तुत किया। न्यायालय ने मूल्यांकन करते हुए आदेश दिया कि परिवादी को विवादित भूमि से बेदखल ना किया जाए तथा राजस्व रिकॉर्ड में किसी तरह से छेड़छाड़ ना की जाए। उक्त आदेश तहसीलदार सहित संबंधित विभागों को दे दिया गया मगर आरोपी नहीं मानें।
मामले में पुलिस ने मोतीराम लुहार, मीनाक्षी मोदी, घनश्याम मोदी, महेंद्र दान चारण व अमरपुरा सरपंच मुरली मोदी के खिलाफ धारा 420, 467, 468, 471 व 120 बी आईपीसी के तहत मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की गई है।
बता दें कि मामले में पटवारी व गिरदावर की भूमिका भी संदिग्ध है।