लूट की झूठी सूचना मिलने पर नोखा पुलिस की रातभर परेड हो गई। पांचू थाना प्रभारी समेत कई पुलिसकर्मी रातभर दौड़ते रहे। सुबह जाकर पता चला कि लूट जैसा कुछ नहीं थी। आपसी रंजिश के चलते हुए मारपीट की घटना को पेट्रोल पंप लूट बताया गया था। लूट नहीं होने से पुलिस ने राहत की सांस ली, लेकिन अब मारपीट को लूट बताने वाले के खिलाफ ही कार्रवाई हो सकती है।
दरअसलर, कक्कू के पास साधुना गांव में रहने वाले धर्मेंद्र भांभू व एक दूसरे पक्ष में आपसी मनमुटाव को लेकर झगड़ा हो गया। तीन चार दिन पहले दोनों में मारपीट भी हुई थी। तब धर्मेंद्र भांभू का पक्ष भारी था। दूसरे पक्ष के लोगों को पीट दिया। उन्हें गंभीर चोट भी आई। इसी से नाराज होकर सोमवार देर रात कुछ लोगों ने धर्मेंद्र पर हमला कर दिया। एक गाड़ी से उसे टक्कर मारने का प्रयास भी किया। जैसे-तैसे धर्मेंद्र अपनी जान बचाकर भाग पाया।
बाद में पुलिस को सूचना दी गई कि वो जिस पेट्रोल पंप पर काम करता है, उसके रुपए लेकर जा रहा था। रास्ते में रुपए लूटने का प्रयास किया गया है। सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंच गई। इधर-उधर पुलिस ने भागदौड़ की। नोखा सहित अन्य पुलिस थानों को भी अलर्ट किया गया।
लूट की राशि ज्यादा बताई तो हुए शक
जिस पेट्रोल पंप का कलेक्शन बताया गया था, वहां जितना कलेक्शन होता है, उससे बहुत ज्यादा राशि लूट की बताई गई। लूट की राशि 1.88 लाख रुपए बताई गई। जबकि वहां कलेक्शन दस हजार रुपए के आसपास होता है। इस पर पुलिस को शक हुआ। बाद में साफ हो गया कि लूट जैसा कुछ नहीं हुआ है। बल्कि आपसी मारपीट का ही मामला है। अब पुलिस ने दोनों पक्षों को थाने में तलब किया है। दोनों की मारपीट के कारणों के साथ ही धर्मेंद्र भांभू पर हमला करने वालों पर कार्रवाई की तैयारी की जा रही है। वहीं पूर्व में हुई मारपीट के दोषियों का भी पता लगाया जा रहा है।