सामाजिक कार्यकर्ताओं के द्वारा,चंद्रशेखर आजाद की प्रतिमा की सफाई कर की पुष्पांजलि अर्पित
बीकानेर। भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के अविस्मरणीय युवा क्रांतिकारी चंद्रशेखर आजाद की 90 वे पुण्यतिथि शनिवार को बीकानेर के सामाजिक कार्यकर्ता ओर भामाशाह दिलीप मोदी ओर दिलीप मोदी के नेतृत्व में जयनारायण व्यास कॉलोनी सेक्टर नम्बर -4 चन्द्रशेखर आजाद पार्क मे स्थित उनकी प्रतिमा स्थल पर भावपूर्ण तरीके से शहर के सामाजिक कार्यकर्ताओं द्वारा आजाद की प्रतिमा की साफ- सफाई कर माल्यार्पण प्रतिमा किया गया।
इसके बाद आयोजित पुष्पांजलि कार्यक्रम में लोगों ने आजादी के नायक आजाद के जीवनवृत्त पर प्रकाश डालते हुए श्रद्धापूर्वक नमन किया।
इस अवसर पर दिलीप मोदी ने कहा कि 23 जुलाई 1906 को पिता पं. सीताराम तिवारी व मां जगरानी देवी के कोख से भंवरा गांव (मध्य प्रदेश) में जन्मे चंद्रशेखर आजाद को उनका परिवार संस्कृत का विद्वान बनाना चाहता था लेकिन उन्हें क्या पता था कि चंद्रशेखर आजाद का जन्म पंडिताई के लिए नहीं बल्कि अन्याय व शोषण के खिलाफ संघर्ष करने के लिए हुआ है। सन् 1921 में 15 वर्ष के थे तो इन्होंने असहयोग आंदोलन में भाग लिया और इन्हें जेल हो गयी। मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश होने पर इस किशोरवय बालक ने अपना नाम आजाद, पिता का नाम स्वतंत्रता और निवास जेलखाना बताकर पूरे अदालत को हिलाकर रख दिया।
जीवन भर अंग्रेजों के हाथ न आने का प्रण लेकर आजादी की लड़ाई लड़ते हुए 27 फरवरी 1931 को इलाहाबाद के अल्फ्रेड पार्क में अंग्रेस सैनिकों द्वारा की गई घेरेबंदी के दौरान उन्होंने स्वयं अपने हाथों से अपने को गोली मारी और सदा-सदा के लिए भारत माता के गोंद में सो गए। जिस स्थान पर उन्होंने देश की आजादी के लिए अपने प्राण त्यागे वह देश वासियों के लिए किसी तीर्थ स्थल से कम नहीं।
वहीं मनोज मोदी ने कहा आजाद जी हमेशा कहा करते थे कि भारत माता की दुर्दशा देखकर जिसको क्रोध न आये उनके शरीर में खून नहीं पानी है। उनका यह संदेश आज और भी प्रासंगिक है।क्योंकि आज भारत की दुर्दशा ज्यादा हो गयी है। ऐसे में नई पीढ़ी को स्वतंत्रता के लिए अपनी जान न्योछावर करने वाले पं. चंद्रशेखर आजाद से प्रेरणा लेनी चाहिए।
पुष्पांजलि कार्यक्रम भाजपा नेता अनिल पाहूजा, क्रमचारी नेता राजकुमार जीनगर, भाजपा नेता त्रिलोक सिंह, राजकुमार भाटिया, ओंकार सिंह, अजय जीनगर,नरेंद्र सिंह बीकानेर, अनिल कुमार नायक आदि कार्यकर्ता मौजूद रहे।